राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में लाल किले के निकट हुए दुखद कार विस्फोट पर अंतरराष्ट्रीय समुदाय से संवेदनाओं का तांता लग गया है। कनाडा के प्रधानमंत्री मार्क कार्नी, जापान के प्रधानमंत्री ताकैची सानाए, गुयाना के राष्ट्रपति इरफान अली और इजराइल के विदेश मंत्री गिडीऑन सार जैसे प्रमुख वैश्विक नेताओं ने इस घटना पर गहरा शोक व्यक्त करते हुए भारत के साथ एकजुटता जताई है।
कनाडा के पीएम मार्क कार्नी ने एक्स पर जारी एक बयान में कहा, “दिल्ली के लाल किले के पास कल शाम हुए इस भयावह कार विस्फोट की खबर सुनकर मुझे गहरा सदमा लगा है।” उन्होंने मारे गए लोगों के परिवारों के प्रति अपनी गहरी संवेदना व्यक्त की और घायलों के जल्द ठीक होने की कामना की। कार्नी ने यह भी स्पष्ट किया कि “कनाडा इस दुख की घड़ी में दिल्ली और भारत के लोगों के साथ खड़ा है।”
गुयाना के राष्ट्रपति इरफान अली ने भी नई दिल्ली में हुए विस्फोट पर भारत सरकार और जनता के प्रति अपनी एकजुटता जाहिर की। उन्होंने एक्स पर लिखा, “गुयाना की सरकार और जनता की ओर से, हम नई दिल्ली में हुए इस भयावह विस्फोट के बाद भारत सरकार और भारत के लोगों के साथ खड़े हैं। हम प्रधानमंत्री @narendramodi और इस दुखद घटना से प्रभावित सभी लोगों के साथ हैं।”
जापान की प्रधानमंत्री ताकैची सानाए ने दिल्ली विस्फोट में हुई जनहानि पर गहरा दुख व्यक्त किया। उन्होंने कहा, “भारत के दिल्ली में हुए विस्फोट में कई कीमती जानें जाने की खबर से मुझे गहरा सदमा पहुंचा है। जापान की सरकार और जनता की ओर से, मैं पीड़ितों और उनके परिवारों के प्रति अपनी हार्दिक संवेदना व्यक्त करता हूं। साथ ही, घायलों के शीघ्र स्वास्थ्य लाभ के लिए प्रार्थना करता हूं।”
इजराइल के विदेश मंत्री गिडीऑन सार ने पीड़ितों के परिवारों के प्रति संवेदना जताते हुए कहा, “मैं दिल्ली के दिल में हुए इस विस्फोट में मारे गए निर्दोष लोगों के परिवारों और भारत के लोगों के प्रति अपनी और इजराइल की गहरी संवेदना व्यक्त करता हूं। घायलों के शीघ्र स्वस्थ होने की कामना है। इजराइल आतंकवाद के खिलाफ भारत की लड़ाई में उसके साथ खड़ा है।”
यह विस्फोट सोमवार शाम को एक कार में हुआ था, जिसके कारण आसपास के वाहन भी क्षतिग्रस्त हो गए थे। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह के अनुसार, मामले की विस्तृत जांच की जा रही है और विभिन्न एजेंसियां धमाके के पीछे के कारणों और उद्देश्यों का पता लगाने के लिए काम कर रही हैं। इससे एक बड़े षड्यंत्र की ओर भी इशारा किया जा रहा है।
