भारत और अमेरिका के बीच व्यापारिक रिश्तों को लेकर तनावपूर्ण माहौल बना हुआ है, लेकिन दोनों देशों के अधिकारी आगामी बैठकों में दोनों नेताओं की मुलाकात की संभावना तलाश रहे हैं।
सूत्रों के अनुसार, अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप और भारतीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के बीच आसियान शिखर सम्मेलन के दौरान मुलाकात हो सकती है। हालांकि, दोनों देशों के बीच चल रही व्यापारिक तनातनी और हाल ही में एच1-बी वीजा शुल्क में वृद्धि इस मुलाकात को प्रभावित कर सकती है।
अमेरिकी राष्ट्रपति ट्रंप ने संयुक्त राष्ट्र महासभा में भारत और चीन पर यूक्रेन युद्ध को वित्त पोषित करने का आरोप लगाया था, जिसके बाद दोनों देशों के बीच तनाव और बढ़ गया है। भारत ने इस महासभा में अपने विदेश मंत्री एस. जयशंकर को भेजा।
विश्लेषकों का मानना है कि दोनों नेताओं के बीच मुलाकात, आपसी संबंधों को सुधारने और व्यापारिक मुद्दों पर बातचीत करने का एक अवसर हो सकती है। हालांकि, अमेरिकी टैरिफ और वीजा शुल्क में वृद्धि जैसे मुद्दों के कारण, यह बैठक आसान नहीं होगी।
अमेरिकी अधिकारियों का कहना है कि वे भारत के साथ एक मजबूत संबंध बनाए रखना चाहते हैं। वहीं, भारत भी इस रिश्ते को महत्व देता है।
कांग्रेस नेता शशि थरूर ने भारत-अमेरिका संबंधों में सुधार की संभावना जताई है। उन्होंने कहा कि ट्रंप के कार्यकाल के दौरान दोनों देशों के बीच संबंधों में काफी सुधार हो सकता है।
विभिन्न विशेषज्ञों का मानना है कि इस मुलाकात के दौरान दोनों नेता आपसी हितों के मुद्दों पर बातचीत कर सकते हैं, जिसमें व्यापार, सुरक्षा और अन्य महत्वपूर्ण मामले शामिल हो सकते हैं।