हिरोशिमा में 80 साल पहले हुई घटना आज भी एक सबक है। यह दिखाता है कि एक छोटी सी गलती भी दुनिया में कितनी बड़ी तबाही ला सकती है। आज की दुनिया में, यह सबक और भी महत्वपूर्ण हो जाता है। कई देशों के बीच तनाव बढ़ रहा है, जिससे यह आशंका है कि तीसरा विश्व युद्ध कभी भी शुरू हो सकता है। अगर ऐसा हुआ तो कई देश अपने दुश्मनों पर परमाणु हमला कर सकते हैं।
अमेरिका ने द्वितीय विश्व युद्ध में 6 अगस्त 1945 को हिरोशिमा पर परमाणु बम गिराया था, जिसके तीन दिन बाद नागासाकी पर भी हमला किया गया था। अच्छी बात यह है कि तब से अब तक किसी देश ने परमाणु हथियारों का इस्तेमाल नहीं किया है। लेकिन आज की स्थिति को देखते हुए ऐसा लग रहा है कि दुनिया तीसरे विश्व युद्ध की ओर बढ़ रही है। अमेरिका और रूस, दक्षिण कोरिया और उत्तर कोरिया, और अमेरिका और चीन के बीच युद्ध की संभावना बहुत अधिक है। YouGov ने इस पर एक सर्वे किया है, जिसमें यूरोप के लोगों ने परमाणु युद्ध की संभावना पर अपनी राय दी है।
हिरोशिमा-नागासाकी: एक चेतावनी
हिरोशिमा और नागासाकी पर हुए परमाणु हमले एक चेतावनी थे। इन हमलों में लगभग 2 लाख से अधिक लोगों की मौत हुई थी, और इसका असर कई पीढ़ियों तक देखा गया। आज भी, उस विनाश की भयानक तस्वीरें लोगों के मन में जिंदा हैं। ऐसा इसलिए है क्योंकि आज दुनिया में हजारों परमाणु हथियार मौजूद हैं। अमेरिका, रूस, चीन, भारत, पाकिस्तान और उत्तर कोरिया जैसे देश पूरी तरह से परमाणु हथियारों से लैस हैं।
रूस-यूक्रेन युद्ध और परमाणु धमकियाँ
रूस और यूक्रेन के बीच चल रहे युद्ध में, रूस ने कई बार यूक्रेन और यूरोप को परमाणु युद्ध की धमकी दी है। हाल ही में रूस ने परमाणु युद्ध अभ्यास भी किया, जिसे रूस की तैयारी के रूप में देखा जा रहा था। नाटो देशों के साथ तनाव के बीच, ऐसा माना जा रहा है कि रूस परमाणु हमला कर सकता है। अमेरिका ने भी रूस के खिलाफ दो परमाणु पनडुब्बियों को तैनात करने का आदेश दिया है। इन पनडुब्बियों को कहां तैनात किया गया है, यह अभी तक पता नहीं चला है।
भारत और पाकिस्तान के बीच तनाव
भारत और पाकिस्तान के बीच भी तनाव काफी बढ़ गया है। हाल ही में ऑपरेशन सिंदूर के दौरान, पाकिस्तान ने फिर से परमाणु हमले की धमकी दी थी। भारत हमेशा ‘नो फर्स्ट यूज’ की नीति पर कायम है, जिसका मतलब है कि भारत परमाणु हमला तभी करेगा जब उस पर हमला किया जाएगा।
दक्षिण कोरिया बनाम उत्तर कोरिया
दक्षिण कोरिया ने परमाणु अप्रसार संधि पर हस्ताक्षर किए हैं, जिससे उत्तर कोरिया की ओर से उस पर खतरा बढ़ गया है, जिसने खुले तौर पर परमाणु हमले की चेतावनी दी है। उत्तर कोरिया के नेता किम जोंग उन ने दावा किया है कि उनके पास परमाणु हथियार हैं, जिससे दोनों देशों के बीच तनाव बढ़ रहा है।
इजराइल और ईरान
इजराइल और ईरान के बीच हाल ही में तनाव का कारण परमाणु बम है। इजराइल का आरोप है कि ईरान परमाणु बम बना रहा है, जिसके चलते उसने ईरान पर हमले किए थे। अमेरिका ने भी ईरान की परमाणु साइटों पर हमला किया था। संयुक्त राष्ट्र और IAEA लगातार चेतावनी दे रहे हैं। ईरान ने भी IAEA को अपने परमाणु केंद्रों का निरीक्षण करने से रोक दिया है। अमेरिका और ईरान के बीच बातचीत भी अभी अधूरी है।
अध्ययन क्या कहते हैं?
YouGov के एक हालिया सर्वे के मुताबिक, ब्रिटेन, फ्रांस, जर्मनी, इटली और स्पेन के 41% से 55% लोगों का मानना है कि अगले दस सालों में तीसरा विश्व युद्ध हो सकता है। अमेरिका के भी 45% लोगों ने यही राय दी है। इनमें से 68% से 76% लोगों का मानना है कि इस युद्ध में परमाणु हथियारों का इस्तेमाल होगा और हिरोशिमा से भी ज्यादा नुकसान होगा। पश्चिमी यूरोप में 72% से 82% और अमेरिका में 69% लोग रूस को मुख्य खतरा मानते हैं।