रियल मनी गेम्स पर प्रतिबंध लगने के बाद, गेमिंग इंडस्ट्री मुश्किलों में आ गई है। लोकप्रिय गेमिंग ऐप मोबाइल प्रीमियर लीग (MPL) जल्द ही अपने कर्मचारियों की छंटनी कर सकती है। कंपनी के अंदरूनी सूत्रों ने बताया कि ऑनलाइन गेमिंग पर नए नियमों के कारण कंपनी 60% कर्मचारियों को नौकरी से निकाल सकती है।
MPL फ्री-टू-प्ले गेम्स पर ध्यान केंद्रित करते हुए अमेरिकी बाजार में अपनी स्थिति मजबूत कर रही है। कंपनी के सूत्रों के अनुसार, मार्केटिंग, ऑपरेशन, फाइनेंस, इंजीनियरिंग और लीगल टीमों में काम करने वाले लगभग 300 भारतीय कर्मचारियों को नौकरी से हाथ धोना पड़ सकता है। कंपनी के सीईओ साईं श्रीनिवास ने एक ईमेल में लिखा है कि कंपनी भारतीय टीम में कटौती करेगी, हालांकि छंटनी की संख्या का उल्लेख नहीं किया गया है।
कंपनी ने कहा है कि वह प्रभावित कर्मचारियों को हर संभव सहायता प्रदान करेगी। भारत MPL के राजस्व का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है, और इस बदलाव के बाद कंपनी भारत से कोई भी राजस्व अर्जित नहीं कर पाएगी।
सरकार ने युवाओं में वित्तीय नुकसान का हवाला देते हुए ऑनलाइन रियल मनी गेम्स पर प्रतिबंध लगाया है। इस फैसले के बाद MPL और Dream11 जैसे लोकप्रिय गेमिंग ऐप्स बंद हो गए हैं, जो विजेताओं को वित्तीय पुरस्कार देते थे। ऑनलाइन गेमिंग इंडस्ट्री का कहना है कि ये गेम्स कौशल पर आधारित हैं, जुए पर नहीं।