चेन्नई: उपराष्ट्रपति सी. पी. राधाकृष्णन के चेन्नई स्थित आवास पर एक बम धमाके की धमकी दी गई थी, जिसे पुलिस ने बाद में फर्जी करार दिया है। यह घटना गुरुवार को सामने आई, जब सहायक पुलिस आयुक्त के कार्यालय को एक ईमेल से धमकी मिली।
सूचना मिलते ही, पुलिस प्रशासन हरकत में आया। बम पहचान और निपटान दस्ते (BDDS) के विशेषज्ञ, एक स्निफर डॉग और अन्य पुलिसकर्मी तुरंत उपराष्ट्रपति के पोएस गार्डन स्थित निवास पर पहुंचे। वहां उन्होंने पूरे परिसर की बारीकी से जांच की।
एक पुलिस अधिकारी के बयान के अनुसार, “यह धमकी फर्जी पाई गई है।” यह भी बताया गया है कि पिछले कुछ समय से चेन्नई पुलिस को इस तरह के कई ईमेल धमकी भरे संदेश मिल रहे हैं। पुलिस इन घटनाओं के पीछे के व्यक्ति का पता लगाने के लिए गहन जांच कर रही है।
**परीक्षा से बचने का छात्र का हथकंडा**
इसी तरह की एक घटना दिल्ली के पश्चिम विहार क्षेत्र में हुई, जहाँ विशाल भारती पब्लिक स्कूल को बम से उड़ाने की धमकी मिली। पुलिस की तत्परता और जांच से पता चला कि यह ईमेल भी एक छात्र द्वारा भेजा गया था, जिसका उद्देश्य परीक्षाओं से बचना था।
स्कूल के प्रधानाचार्य को प्राप्त हुए इस धमकी भरे ईमेल के बाद पुलिस को सूचित किया गया। इसके जवाब में, बम निरोधक दस्ते, श्वान दस्ते और अग्निशमन विभाग की टीमों ने स्कूल की तलाशी ली। छात्रों और कर्मचारियों को सुरक्षित बाहर निकाला गया।
एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने जानकारी देते हुए कहा, “हमने मामला दर्ज कर लिया है और साइबर टीम की मदद से ई-मेल भेजने वाले की पहचान की गई। वह एक किशोर निकला।” पूछताछ में किशोर ने स्वीकार किया कि वह परीक्षाओं को लेकर घबराया हुआ था और स्कूल की छुट्टी करवाने के इरादे से उसने यह धमकी दी थी।
**सुरक्षा जांच में कुछ भी संदिग्ध नहीं मिला**
जांच दल को स्कूल परिसर में कोई भी विस्फोटक या संदिग्ध वस्तु नहीं मिली। अधिकारियों ने स्पष्ट किया कि यह एक झूठी सूचना थी। पुलिस इस मामले में कानूनी प्रक्रिया के अनुसार आगे की कार्रवाई कर रही है, विशेषकर किशोर को देखते हुए।