मेरठ के विक्टोरिया पार्क में चल रही रामकथा के दौरान जगद्गुरु स्वामी रामभद्राचार्य ने एक बार फिर कई विवादास्पद बातें कहीं। उन्होंने शिक्षा व्यवस्था और महिलाओं के अधिकारों पर अपनी बात रखी। रामभद्राचार्य के अनुसार, हिंदू धर्म में महिलाओं को देवी के रूप में पूजा जाता है, जबकि अन्य धर्मों में उन्हें बेबी या बीवी कहा जाता है। उन्होंने इस्लाम पर निशाना साधते हुए कहा कि वहां महिलाओं की स्थिति दयनीय है, जहां उन्हें तलाक देकर छोड़ने जैसी बातें होती हैं। उन्होंने जोर देकर कहा कि हिंदू धर्म में मां को पिता से भी ऊंचा स्थान दिया गया है। शिक्षा व्यवस्था पर बात करते हुए, रामभद्राचार्य ने अभिभावकों से अपील की कि वे अपने बच्चों को कॉन्वेंट स्कूलों में न भेजें और उन्हें भारतीय संस्कृति से जोड़ने वाले स्कूलों में पढ़ाएं। उन्होंने बच्चों को संस्कारी बनाने पर जोर दिया, चाहे वे बेटे हों या बेटियां। रामभद्राचार्य ने संसद में महिलाओं के लिए 33% आरक्षण की वकालत करते हुए कहा कि महिलाओं को पुरुषों से अधिक अधिकार मिलने चाहिए, और समाज में महिलाओं को सम्मान देने की परंपरा हिंदू धर्म से शुरू हुई है। इससे पहले भी, रामभद्राचार्य ने पश्चिमी उत्तर प्रदेश को ‘मिनी पाकिस्तान’ बताकर विवाद खड़ा कर दिया था, और उनके हालिया बयानों पर लोगों में तीखी बहस छिड़ गई है।
Trending
- मिराई की सफलता: प्रभास की ‘द राजा साब’ के लिए उम्मीदें
- Google Gemini Nano Banana: छवि निर्माण सीमाएँ – मुफ्त, प्रो और अल्ट्रा योजनाएँ
- गौतम गंभीर का इरफान पठान पर निशाना: ईमानदारी का पाठ पढ़ाया
- रामभद्राचार्य: महिलाओं पर टिप्पणी और शिक्षा प्रणाली पर सवाल
- बॉक्स ऑफिस पर टकराव: ‘फौजी’ को चुनौती देने आ रहे हैं 5 कलाकार, जानिए कब होगी टक्कर!
- व्हाट्सएप का प्रतिद्वंद्वी हाइक 13 साल बाद बंद
- भारत-पाक मैच के बाद हाथ न मिलाने पर पीसीबी का विरोध
- ओडिशा सरकार का बड़ा फैसला: इलेक्ट्रिक टू-व्हीलर्स पर सब्सिडी में भारी वृद्धि