सुप्रीम कोर्ट के हालिया फैसले के बाद, दिल्ली में एक लाख आवारा कुत्तों को माइक्रोचिप लगाने की योजना है। दिल्ली के पशु कल्याण बोर्ड ने बुधवार को एक अहम बैठक की और रेबीज एक्शन प्लान की शुरुआत की घोषणा की।
विकास मंत्री कपिल शर्मा ने बताया कि इन उपायों का उद्देश्य सार्वजनिक सुरक्षा और पशु कल्याण को संतुलित करना है।
रेबीज नियंत्रण पर जोर दिया जाएगा।
विश्व रेबीज दिवस के नजदीक आने पर, सरकार दिल्ली में रेबीज के खिलाफ एक राज्य योजना शुरू करेगी। इसमें डिजिटल टीकाकरण रिकॉर्ड, जिला स्तरीय निगरानी समितियां और कुत्ते के काटने की घटनाओं को रोकने के लिए कदम शामिल होंगे।
पालतू दुकानों के लिए सख्त नियम बनेंगे।
बैठक में यह भी तय किया गया कि दिल्ली की सभी पालतू दुकानों को निगरानी समिति के साथ पंजीकृत होना होगा। यह समिति नियमों का पालन सुनिश्चित करेगी।
धन और जागरूकता पर भी ध्यान दिया जाएगा।
बैठक में धन और प्रशासन से जुड़े नए प्रस्ताव भी रखे गए। इनमें दिल्ली सलाहकार बोर्ड फॉर एनिमल वेलफेयर से संसाधन स्थानांतरित करना, स्थायी और उप-समितियां बनाना, और कर्मचारियों की भर्ती करना शामिल है।
जागरूकता अभियान भी चलाए जाएंगे। शिक्षा विभाग स्कूलों में पशु देखभाल पर अभियान चलाएगा, जबकि बाजार निगरानी समिति बाजार में होने वाली गतिविधियों पर नजर रखेगी।
अधिकारियों से रेबीज नियंत्रण, माइक्रोचिपिंग, पालतू दुकानों के पंजीकरण और जागरूकता अभियानों पर एक विस्तृत रिपोर्ट तैयार करने को कहा गया है। जागरूकता अभियान में सोशल मीडिया की भी महत्वपूर्ण भूमिका होगी।