दिल्ली उच्च न्यायालय ने 2020 के दिल्ली दंगों से संबंधित मामलों में उमर खालिद और शरजील इमाम की जमानत याचिकाओं को खारिज कर दिया है। अदालत ने यूएपीए के तहत गिरफ्तार एक अन्य आरोपी तस्लीम अहमद की जमानत याचिका को भी खारिज कर दिया। न्यायमूर्ति सुब्रमण्यम प्रसाद और न्यायमूर्ति हरीश वैद्यनाथन शंकर की पीठ ने तस्लीम अहमद के मामले में फैसला सुनाया। जस्टिस नवीन चावला और जस्टिस शलिंदर कौर की पीठ ने उमर खालिद और शरजील इमाम की जमानत याचिकाओं पर सुनवाई की और उन्हें खारिज कर दिया। अदालत ने कहा कि इन याचिकाओं पर फैसला सुरक्षित रखा गया था और अब उन्हें खारिज कर दिया गया है। अभियोजन पक्ष ने तर्क दिया कि यह सिर्फ दंगे नहीं थे, बल्कि भारत को बदनाम करने की साजिश थी। सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने कहा कि यह वैश्विक स्तर पर भारत को बदनाम करने की एक साजिश थी। इन दंगों में 53 लोगों की मौत हुई थी और 700 से अधिक लोग घायल हुए थे। यह हिंसा सीएए और एनआरसी के खिलाफ विरोध प्रदर्शनों के दौरान भड़की थी। उमर खालिद, शरजील इमाम और अन्य आरोपियों पर फरवरी 2020 के दंगों के कथित मास्टरमाइंड होने का आरोप है।
Trending
- दिवाली पर बेंगलुरु खाली: क्यों रातोंरात ‘भूतिया शहर’ बना टेक हब?
- कैरिबियन में अमेरिकी सेना ने ड्रग्स ले जा रही पनडुब्बी डुबोई, ट्रंप ने की बड़ी बात
- छोटी दिवाली 2025: नरक चतुर्दशी की बधाई संदेश
- IND vs AUS: पर् colnames्ठ में पर्दा उठेगा, रेनशॉ-ओवेन का वनडे डेब्यू पक्का
- चेन्नई में दिवाली का क्रेज: 18 लाख लोग घर लौटे, सड़कों पर जाम
- अमेरिका का हमास को अल्टीमेटम: गाजा में अपने लोगों पर हमला, तो गंभीर परिणाम होंगे
- अमेरिका में ‘नो किंग्स’ आंदोलन: ट्रम्प के खिलाफ हजारों का प्रदर्शन, राष्ट्रपति का जवाब
- रोहित-कोहली का ‘गैर-कप्तान’ युग: 9 साल बाद वापसी, गिल संभालेंगे कमान