अभिनेता निकितिन धीर अपने पिता, दिग्गज अभिनेता पंकज धीर के निधन के बाद गहरे सदमे और शोक से गुजर रहे हैं। 15 अक्टूबर को कैंसर के आगे जिंदगी की जंग हारने वाले पंकज धीर के जाने के बाद, निकितिन ने सोशल मीडिया पर कई भावनात्मक पोस्ट साझा की हैं, जिनमें वे ‘दर्द’ और ‘अभिमान’ को छोड़ने की बात कर रहे हैं।
**ईश्वर की शरण में सुकून की तलाश**
पिता के निधन के बाद, निकितिन धीर ने इंस्टाग्राम पर देवी काली के चरणों की तस्वीर साझा करते हुए लिखा, “उनके चरणों में, मैंने अपना नाम, अपना अभिमान, अपना दर्द छोड़ दिया, और उन्होंने मुझे अपना बना लिया।” यह पोस्ट उनकी मन की स्थिति को दर्शाती है, जहां वे इस मुश्किल घड़ी में ईश्वर से शक्ति और सुकून की तलाश कर रहे हैं। यह उनके पिता के खोने के बाद आए खालीपन को भरने का एक प्रयास भी है।
**’शिवार्पणम’ का महत्व**
पिता के निधन से कुछ घंटे पहले, निकितिन ने जीवन के उतार-चढ़ावों को स्वीकार करने का एक अनूठा तरीका साझा किया था। उन्होंने लिखा, “जो आए, आने दो। जो ठहरे, ठहरने दो। जो जाए, जाने दो। एक शिव भक्त के तौर पर, ‘शिवार्पणम’ कहकर आगे बढ़ो! वे संभाल लेंगे!” यह संदेश जीवन की हर परिस्थिति को ईश्वर को समर्पित कर देने की भावना को दर्शाता है, जो अक्सर मुश्किल होता है लेकिन शांति प्रदान करता है।
**श्रद्धांजलि सभा में दिग्गजों की उपस्थिति**
पंकज धीर को श्रद्धांजलि देने के लिए 17 अक्टूबर को एक प्रार्थना सभा आयोजित की गई थी। इस अवसर पर फिल्म और टेलीविजन जगत की कई जानी-मानी हस्तियों ने शिरकत की, जिनमें सुरेश ओबेरॉय और एशा देओल शामिल थे। निकितिन धीर अपनी पत्नी कृतिका सेंगर के साथ भावुक नजर आए। मशहूर अभिनेता सलमान खान भी इस दुख की घड़ी में निकितिन के साथ खड़े दिखे और उन्हें गले लगाकर हौसला दिया।
**पंकज धीर: एक बहुआयामी प्रतिभा**
पंकज धीर ने अपने लंबे करियर में अभिनय के अलावा निर्देशन और अभिनय प्रशिक्षण के क्षेत्र में भी महत्वपूर्ण योगदान दिया। ‘महाभारत’ में कर्ण के किरदार से घर-घर में पहचाने जाने वाले पंकज धीर ने ‘सनम बेवफा’, ‘बादशाह’ और ‘चंद्रकांता’ जैसी कई हिट फिल्मों में काम किया। उन्होंने ‘माई फादर गॉडफादर’ नामक फिल्म का निर्देशन भी किया और युवाओं को अभिनय सिखाने के लिए ‘अभिनय एक्टिंग अकादमी’ की स्थापना की। उनका निधन भारतीय मनोरंजन उद्योग के लिए एक बड़ी क्षति है।