फरीदपुर, बांग्लादेश: बांग्लादेश के रॉक सुपरस्टार जेम्स का एक बहुप्रतीक्षित संगीत कार्यक्रम हिंसक हंगामे के कारण अचानक स्थगित कर दिया गया। यह घटना फरीदपुर में हुई, जो ढाका से लगभग 120 किलोमीटर दूर है। रिपोर्ट्स के अनुसार, लगभग 25 लोग इस हमले में घायल हुए हैं। यह दुर्भाग्यपूर्ण घटना देश में कला और संस्कृति के माहौल पर बढ़ते खतरों को फिर से सामने लाती है।
कार्यक्रम हुआ रद्द, क्यों?
बताया जा रहा है कि जेम्स का यह कॉन्सर्ट शुक्रवार रात को एक स्थानीय स्कूल के स्थापना दिवस समारोह के तौर पर आयोजित किया जाना था। लेकिन, शाम ढलते-ढलते माहौल गरमा गया जब उपद्रवी तत्वों के एक समूह ने कार्यक्रम स्थल में घुसने की कोशिश की। प्रत्यक्षदर्शियों के मुताबिक, इन लोगों ने दर्शकों पर ईंट-पत्थर भी चलाए, जिससे भगदड़ मच गई और कई लोग चोटिल हो गए।
हालात बिगड़ने पर, स्थानीय प्रशासन ने तुरंत कार्रवाई करते हुए सुरक्षा कारणों से पूरे कार्यक्रम को रद्द करने का निर्णय लिया।
दरअसल, शुक्रवार, 26 दिसंबर को फरीदपुर जिला स्कूल के 185वीं वर्षगांठ के अवसर पर जेम्स को मुख्य अतिथि के तौर पर परफॉर्म करना था। लेकिन, आयोजन स्थल पर कुछ कट्टरपंथी समूहों ने हमला कर दिया, तोड़फोड़ की और स्थिति को इतना बिगाड़ दिया कि कॉन्सर्ट को बीच में ही रोकना पड़ा।
तस्लीमा नसरीन ने जताई चिंता
इस घटना पर बांग्लादेश की जानी-मानी लेखिका तस्लीमा नसरीन ने गंभीर चिंता जताई है। उन्होंने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म ‘एक्स’ पर लिखा कि यह हमला देश में कलाकारों और सांस्कृतिक गतिविधियों पर हो रहे हमलों की एक “चिंताजनक कड़ी” है। उन्होंने याद दिलाया कि कैसे पहले भी छायानाट और उद्दीची जैसे प्रतिष्ठित सांस्कृतिक संस्थान कट्टरपंथियों का शिकार हो चुके हैं। नसरीन का आरोप है कि जेम्स को फरीदपुर में प्रदर्शन करने से रोकने के लिए ही यह हमला करवाया गया।
नसरीन ने यह भी बताया कि हाल ही में महान संगीतकार अली अकबर खान के पोते, गायक सिराज अली खान को भी सुरक्षा कारणों से ढाका में कार्यक्रम रद्द करना पड़ा था। इसी तरह, प्रसिद्ध शास्त्रीय गायक उस्ताद राशिद खान के बेटे अरमान खान ने भी कलाकारों की सुरक्षा को लेकर आशंका जताते हुए ढाका आने का निमंत्रण ठुकरा दिया था।
गौरतलब है कि जेम्स बांग्लादेश के सबसे चहेते संगीतकारों में से एक हैं और ‘नागर बाहुल’ रॉक बैंड के फ्रंटमैन हैं। उनकी भारत में भी अच्छी खासी फैन फॉलोइंग है, और उन्होंने ‘गैंगस्टर’ फिल्म का ‘भीगी भीगी’ और ‘लाइफ इन ए मेट्रो’ का ‘अलविदा’ जैसे हिट गाने गाए हैं।
सरकार पर उठे सवाल
कलाकारों के कार्यक्रम में इस तरह की बाधाएं यह दर्शाती हैं कि देश में कट्टरपंथी समूह कितने हावी हो चुके हैं। कई सांस्कृतिक संगठन और मीडिया समूह लगातार ऐसे हमलों की रिपोर्ट कर रहे हैं, लेकिन प्रशासन की ओर से प्रभावी कार्रवाई का अभाव दिखाई दे रहा है।
मुहम्मद यूनुस के नेतृत्व वाली अंतरिम सरकार पर भी भीड़ की हिंसा को नियंत्रित करने में नाकाम रहने के आरोप लग रहे हैं। कुछ विश्लेषकों का मानना है कि राज्य में बिगड़ती कानून-व्यवस्था की स्थिति का इस्तेमाल आगामी फरवरी के चुनावों को टालने के बहाने के तौर पर भी किया जा सकता है।
