रविवार को आयोजित ‘निशांत संवाद’ कार्यक्रम के बाद बिहार के राजनीतिक गलियारों में चर्चा गर्म है। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के बेटे निशांत कुमार को लेकर राजनीति में एंट्री की अटकलें लगाई जा रही हैं। कार्यक्रम के पोस्टर जदयू कार्यालय के आसपास देखे गए, जिसमें निशांत को नीतीश कुमार की जनकल्याणकारी योजनाओं पर बात करते हुए दिखाया गया। निशांत कुमार ने खुद के राजनीतिक प्रवेश के बारे में सीधे तौर पर कुछ नहीं कहा है, लेकिन उनके पिता के एक और कार्यकाल के लिए मुख्यमंत्री बने रहने की इच्छा जरूर जताई है। विपक्षी नेताओं, जैसे तेजस्वी यादव और चिराग पासवान ने भी, भले ही वैचारिक रूप से अलग हों, निशांत के राजनीतिक प्रवेश का स्वागत करने की बात कही है। कुछ लोगों को इस बात पर संदेह है कि नीतीश कुमार, जो वंशवाद की राजनीति से दूर रहने की बात करते हैं, क्या अपने बेटे को राजनीति में आने देंगे, जबकि अन्य लोगों का मानना है कि यह बिहार के लिए सकारात्मक होगा। मंत्री संतोष कुमार सुमन ने निशांत कुमार के राजनीति में प्रवेश की संभावना का स्वागत करते हुए कहा कि यह बिहार के लिए फायदेमंद होगा और युवाओं को राजनीति में आना चाहिए।
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