छत्तीसगढ़ सरकार ने, मुख्यमंत्री विष्णु देव साय के नेतृत्व में, घोषणा की है कि राज्य में लोकतंत्र सेनानियों को उनके अंतिम संस्कार में राजकीय सम्मान दिया जाएगा। इसके अलावा, उनके परिवारों को ₹25,000 की आर्थिक सहायता भी प्रदान की जाएगी। यह घोषणा सीएम हाउस में आयोजित आपातकाल स्मृति दिवस कार्यक्रम में की गई। कार्यक्रम में कैबिनेट मंत्री, विधायक और सांसद मौजूद थे, और लोकतंत्र सेनानियों को सम्मानित भी किया गया। मुख्यमंत्री साय ने पिछली कांग्रेस सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि उन्होंने लोकतंत्र सेनानियों के लिए योजनाओं को बंद कर दिया था। उन्होंने बताया कि पिछले पांच वर्षों से इन सेनानियों को उनकी वित्तीय सहायता नहीं मिली थी। वर्तमान सरकार लंबित बकाया राशि का भुगतान करेगी। मुख्यमंत्री ने आपातकाल को भारत के लोकतांत्रिक सफर का एक काला अध्याय बताया और इस बात पर जोर दिया कि हर पीढ़ी को इसके बारे में पता होना चाहिए। उन्होंने बताया कि उनके परिवार पर भी इसका असर पड़ा था, उनके बड़े चाचा 19 महीने जेल में रहे। उन्होंने कई परिवारों को अपने कमाने वाले सदस्यों की गिरफ्तारी के कारण तबाह होते देखा था। मुख्यमंत्री ने बताया कि लोकतंत्र सेनानियों की देखभाल करना सरकार का नैतिक कर्तव्य है, और उन्होंने उनके सम्मान और अधिकारों की रक्षा के लिए सरकार की प्रतिबद्धता को दोहराया। इस पहल को लोकतंत्र की रक्षा के लिए संघर्ष करने वाले सेनानियों के सम्मान और योगदान के लिए एक सच्ची श्रद्धांजलि के रूप में देखा जाता है।
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